आरएसएस से जुड़े संगठन ने किया कृषि विधेयक का विरोध, कहा- नौकरशाह बैठें हैं, नहीं पता जमीनी हकीकत


नई दिल्ली/अक्षर सत्ता/ऑनलाइन। कृषि सुधार से जुड़े तीन विधयकों के राज्यसभा में पास होने के साथ ही इस बिल को लेकर किसानों समेत कई किसान संगठन सरकार के विरोध में आ गए हैं। इन संगठनों में अब आरएसएस से जुड़े एक और संगठन का नाम जुड़ गया है। आरएसएस से जुड़े भारतीय किसान संघ अब केंद्र सरकार के खिलाफ खड़ा हो गया है। 


भारतीय किसान संघ के महासचिव बद्री नारायण चौधरी ने इस बारे में कहा कि ये विधयक उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाने वाला है और इससे किसानों का जीवन और मुश्किल होने वाला है। एक निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि भारतीय किसान संघ किसी सुधार के विरोध में नहीं है। पर इन विधेयकों पर किसानों की असल चिंताएं हैं। 



क्या सरकार बनेगी गारंटर
उन्होंने बताया कि अब जिसके पास भी पैन कार्ड है, वही व्यापारी बन कर सीधा किसान से डील कर सकता है। सरकार को ऐसा कानून बनाना चाहिए, जिससे यह तय हो सके कि जब उसका उत्पाद खरीदा जाएगा, उसी वक्त उसे पेमेंट हो जाएगा या फिर सरकार उसके पेमेंट की गारंटर बनेगी।


उन्होंने सरकार से सवाल करते हुए पूछा कि पिछले 2 बजट से केंद्र सरकार 22 हजार नई मंडियों के होने की बता करती है लेकिन वो हैं कहाँ ? ये बड़े ही दुर्भाग्य की बता है कि कृषि और खाद्य मंत्रालयों को नौकरशाह चला रहे हैं, जिन्हें जमीनी हकीकत का कोई अंदाजा नहीं है।



क्यों हो रहा है विरोध 
दरअसल, किसान चाहते हैं कि सरकार एमएसपी (MSP- Minimum Support Price) तय करते वक्त उत्पादक की लागत, मांग-आपूर्ति, इनपुट आउटपुट मूल्य में समानता, दाम में बदलाव जैसी शर्तों और नियमों को बना रहने दे। लेकिन सरकार इसे बदल रही है भले ही वो इस बात को न माने लेकिन किसान सरकार के इस बिल से बेहद नाराज हैं और अनुमान है कि ये मामला और आगे जाएगा।



क्या है ये बिल
इस विधयक के पास होने से किसान उपज व्यांपार एवं वाणिज्य (संवर्धन एवं सुविधा) विधेयक, 2020 में किसान और व्या पारी विभिन्नज राज्य कृषि उपज विपणन विधानों के तहत अधिसूचित बाजारों के भौतिक परिसरों या सम-बाजारों से बाहर पारदर्शी और बाधारहित प्रतिस्पर्धी वैकल्पिक व्याापार चैनलों के माध्यहम से किसानों की उपज की खरीद और बिक्री लाभदायक मूल्योंं पर करने से संबंधित चयन की सुविधा का लाभ उठा सकेंगे।


किसान (सशक्तिकरण एवं संरक्षण) का मूल्य आश्वासन अनुबंध एवं कृषि सेवाएं विधेयक, 2020 में कृषि समझौतों पर राष्ट्री य ढांचे के लिए प्रावधान है, जो किसानों को कृषि व्यापार फर्मों, प्रोसेसरों, थोक विक्रेताओं, निर्यातकों या बड़े खुदरा विक्रेताओं के साथ कृषि सेवाओं और एक उचित तथा पारदर्शी तरीके से आपसी सहमति वाला लाभदायक मूल्य ढांचा उपलब्ध कराता है।


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