पश्चिम बंगाल में चुनाव हारने के बाद टीएमसी के खिलाफ प्रतिशोध की राजनीति कर रही है भाजपा


ममता ने महुआ की लोस सदस्यता रद्द किए जाने पर भाजपा पर साधा निशाना
कुर्सियांग। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री व तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) प्रमुख ममता बनर्जी ने शुक्रवार को पार्टी सांसद महुआ मोइत्रा की लोकसभा सदस्यता रद्द किये जाने पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर करारा प्रहार करते हुए कहा कि वह पश्चिम बंगाल में चुनाव हारने के बाद टीएमसी के खिलाफ प्रतिशोध की राजनीति कर रही है।
गौरतलब है कि ‘नगद के बदले सवाल पूछने के आरोप’ में टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा की लोकसभा की सदस्यता आज रद्द कर दी।
टीएमसी अध्यक्ष बनर्जी ने इस कदम को अस्वीकार्य कहा और इसे देश के संसदीय लोकतंत्र के साथ विश्वासघात बताया और भविष्यवाणी की कि लोग चुनाव में भाजपा को करारा जवाब देंगे।
यह पूछे जाने पर कि क्या सुश्री मोइत्रा को अगले चुनाव में पार्टी का उम्मीदवार बनाया जाएगा, सुश्री बनर्जी ने यहां संवाददाताओं से कहा कि उनके निष्कासन से अगले चुनाव (2024) में लोकसभा में उनकी वापसी की संभावन बढ़ गई है।
तृणमूल कांग्रेस की सर्वोच्च नेता ने कहा कि हम देख रहे हैं कि ऐसा कोई कारण नहीं है कि वह चुनाव नहीं लड़ेंगी।
सुश्री बनर्जी ने कहा,“मैं स्तब्ध और दुखी हूं। आचार समिति की रिपोर्ट में 495 पृष्ठ थे। केवल 30 मिनट की चर्चा के बाद उन्हें निष्कासित कर दिया गया। 30 मिनट में 495 पृष्ठ कैसे पढ़े जा सकते हैं? उन्हें (महुआ मोइत्रा) अपनी बात भी रखने का अवसर नहीं दिया गया। उसे आत्मरक्षा में बोलने की भी अनुमति नहीं दी गई। उन्होंने महुआ को अपना पक्ष समझाने की अनुमति नहीं दी। यह लोकतंत्र की हत्या है। यह अन्याय है।”
उन्होंने संसद में मोइत्रा के समर्थन में खड़े होने के लिए ‘इंडिया’ गठबंधन के सहयोगियों को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि महुआ परिस्थितियों की शिकार है।
टीएमसी प्रमुख ने कहा कि उनके निष्कासन से संसद में उनकी वापसी की संभावना बढ़ेगी क्योंकि पार्टी उनके साथ खडी है और वह निश्चित रूप से इस लड़ाई को जीतेंगी। उन्होंने कहा कि हम इसका मुकाबला साहस के सात राजनीतिक रूप से करेंगे। पार्टी उनका समर्थन करती है। वह युवा हैं और एक महिला सांसद हैं।

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